घर हँसता मिला

पीछे-पीछे प्यार की सदाएँ छोड़ता चला मैं यादों की महक से जिगर हँसता मिला नज़रों में भर लिए किलकारियों के फूल हर एक राह का शजर हँसता मिला अम्मा और बाबूजी ने हँस के विदा किया था निकला सफर पे सफर हँसता मिला कुछ यूँ रहा है आपकी दुआओं का असर लौट के गया तो मुझे घर हँसता मिला © Charanjeet Charan : चरणजीत चरण